Sunday, August 7, 2011
विश्वास
है मस्त आज हम
और रहेंगे हरदमदिल में लेकर एक पक्का इरादा लेकर
जीवन रुपी रण में कूद पड़े हैं हम
आये चाहें कितने भी गम
उनके सामने नहीं झुकेंगे हम
नदी की विपरीत दिशाओं में तैरना
सीखा नहीं हमने इसके बावजूद
समन्दर की लहरों के खिलाफ तैरना चाहते हैं हम
है साथ अगर कोई तो ये विश्वास
कि इन लहरों के उस पार एक पड़ाव है
जिसे शायद लोग सफलता कहते हैं
वहीँ पहुंचकर हमको सुकून मिलेगा
कुछ समय के लिए
क्योंकि सफलता एक यात्रा है
गंतव्य नहीं ..............................................
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